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बिना विवाह किये भी साथ रह सकते हैं | Live in Relationship | Law and Rights | Fundamental Rights

बिना विवाह किये भी साथ रह सकते हैं। जानिए क्या है इस संबंध में कानून। क्या होते हैं एक कपल के अधिकार।

आज के दौर में Live in Relationship रहना एक आम बात हो गई है। शादी के भारी भरकम खर्चो से बचने के लिए और समय न होने की वजह से कपल अपनी मर्ज़ी से Live in Relationship में रहना पसंद करने लगे हैं।


क्या है लिव इन रिलेशनशिप


जब एक लड़की (बालिग-जिसने 18 वर्ष की आयु  पूरी कर ली हो ) और एक बालिग लड़का बिना शादी के बंधन में बंधे एक दूसरे के साथ एक घर में पति-पत्नी के तरह रहते हैं, तो इसे लिव इन रिलेशनशिप कहा जाता है।


भारत सहित विश्व के कई देशों में लिव इन रिलेशनशिप को कानूनी मान्यता प्राप्त है। इसका मतलब यह है कि एक लड़का और लड़की बिना शादी के बंधन में बंधे अपनी मर्जी से एक दूसरे के साथ पति पत्नी के रूप में रहना चाहते हैं तो उन्हें कानूनन यह अधिकार प्राप्त है।

विमेन प्रोटक्शन एक्ट 2005 के तहत एक महिला को अपनी मर्जी से अपना जीवन जीने का अधिकार है और इसी अधिकार के तहत इस महिला को लिव इन रिलेशनशिप में रहने का अधिकार मिल जाता है, यदि वह चाहे तो।


लिव इन रिलेशनशिप भारत में संसद द्वारा कानूनी मान्यता प्राप्त है। 
Live in Relationship में धर्म का कोई बंधन नहीं होता है। दो अलग-अलग धर्म से जुड़े कपल भी Live in Relationship में रह सकते हैं।

भारत में हिंदू विवाह अधिनियम के तहत विवाह की उम्र

लड़की के लिए 18 वर्ष और लड़के के लिए 21 वर्ष तय की गई है। लेकिन Live in Relationship में रहने के लिए ऐसा उम्र का कोई बंधन नहीं है। यदि दोनों बालिग हैं तो  साथ रह सकते हैं।
इसका अर्थ यह है की लड़की 18 वर्ष या उससे अधिक की हो और लड़का 18 वर्ष या उससे अधिक का है तो वे दोनों अपनी मर्ज़ी से Live in Relationship में रह सकते हैं।

यहाँ यह जानना जरूरी है की उम्र के अंतर् का भी कोई बंधन नहीं होता है।
उदाहरण के तौर पर अगर लड़की 45 वर्ष की है और लड़का 21 वर्ष का तो दोनों साथ रह सकते हैं, और इसके उलट यदि ऐसा है तो भी वे दोनों अपनी मर्ज़ी से साथ रहने को स्वतंत्र हैं।

हाल ही में केरल हाईकोर्ट द्वारा एक फैसले पर सुनवाई करते हुए टिपण्णी दी गई की यदि "लड़का-लड़की बालिग हो और दोनों ने शादी की न्यूनतम उम्र न प्राप्त की हो फिर भी साथ रह सकते हैं।"

कपल के कानूनी अधिकार

Live in Relationship में रहने वाले कपल को एक वैधानिक शादीशुदा कपल के तरह ही सभी कानूनी अधिकार प्राप्त होते हैं।

  • इसके अंतर्गत संपत्ति पर दोनों का बराबर का अधिकार होता है।
  • किन्तु तलाक की स्थिति में कानूनी अधिकार सिमित हैं। 
  • घरेलू हिंसा के संबंध में भी कानूनी अधिकार प्राप्त होते हैं। एक महिला को केवल महिला होने के कारण प्राप्त हैं।

ध्यान देने योग्य बातें

  1. Live in Relationship रहने के दौरान यदि कोई बाद में  सम्बन्ध में नहीं रहना चाहता है तो वह इसके लिए स्वतंत्र है।
  2. कुछ समय या कुछ हफ्तों तक साथ रहना लिव इन रिलेशनशिप नहीं हैं। 
  3. बच्चों पर दोनों का पूर्ण अधिकार होता है। 
  4. ऐसे सम्बन्ध में यदि कुछ समय पुरुष साथ छोड़ देता है तो महिला अपने पार्टनर पर दुष्कर्म का आरोप नहीं लगा सकती है।
Live in Relationship | Law and Rights | High Court | Fundamental Rights

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