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चीन के स्मार्टफोन पर भारत की सख्ती, पहले से मौजूद ऐप की होगी जांच
भारत सरकार बहुत जल्द चीनी मोबाइल कंपनियों के स्मार्टफोन पर सख्ती बढ़ाने की योजना बना रही है। सूत्रों द्वारा बताया जा रहा है कि सरकार चीनी स्मार्टफोन के कलपुर्जे (parts) और उसमें पहले से मौजूद एप्स (Apps) की जांच करेगी।
रिपोर्ट के मुताबिक सरकार की ओर से चीनी स्मार्टफोन कंपनियों से उनके फोन में इस्तेमाल कंपोनेंट्स और डाटा को लेकर जानकारी मांगी गई है।
कौन-कौन स्मार्ट फ़ोन भारत में हैं चीनी कंपनियों के?
चीन द्वारा निर्मित स्मार्टफोन हैं-
भारतीय मोबाइल बाजार में इन कंपनियों की 50 फ़ीसदी से ज़्यादा की हिस्सेदारी है। ET (ईटी) की रिपोर्ट के मुताबिक नया नोटिस देश में चीनी कंपनियों के खिलाफ एक बड़ी कार्यवाही का हिस्सा होने की उम्मीद है। इससे पहले एलएसी (LAC) पर दोनों देशों के बीच तनाव के बाद भारत इस तरह के कदम उठा चुका है।
सरकार ने इसलिए उठाया यह कदम!
सरकार का मकसद यह जानना है कि चीनी कंपनियों के स्मार्टफोन भारतीय कंज्यूमर्स के लिए सुरक्षित हैं या नहीं। स्मार्ट फोन के डाटा को लेकर जानकारी मिलने के बाद सरकार नोटिस भेजेगी। माना जा रहा है कि सरकार ने यह कदम हुवावे जैसी बड़ी चीनी कंपनियों को टेलीकॉम नेटवर्किंग के संवेदनशील क्षेत्रों से दूर रखने के लिए उठाया है।
अब तक 220 चीनी ऐप्स बैन
भारत ने 2020 में जासूसी के शक में 220 चीनी एप्स पर पाबंदी लगा दी थी। जिसमें टिक-टॉक, शेयर-इट जैसे तमाम चीनी एप को भारत सरकार ने बैन किया था।
तब चीन ने क्या कदम उठाए थे?
भारत सरकार की कार्रवाई के बाद चीनी स्माटफोन ब्रांडो ने स्थानीय स्तर पर प्रोडक्शन और निवेश पर फोकस किया। रिपोर्ट के मुताबिक वीवो, ओप्पो जैसी चीनी कंपनियों ने निवेशकों से जुड़े अपने वादों को पूरा नहीं किया है।
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